Mahatma Gandhi : -
प्रारंभिक जीवन : -
महात्मा गांधी जिन्हें हम प्यार से बापू कहते हैं, प्रमुख राजनैतिक एवं आध्यात्मिक नेता के रूप में जाना जाता है। इन्होंने स्वतंत्रता आंदोलन में महत्वपूर्ण योगदान प्रस्तुत किया है। महात्मा गांधी जी ने अंग्रेजों के प्रति कई आंदोलन चलाए जो सफल हुए।महात्मा गांधी ने हरिजन, इंडियन ओपिनियन, यंग इंडिया और नवजीवन में संपादक के तौर पर काम किया। उन्होंने समाचार पत्रों के माध्यम से बहस, संवादों के जरिए अपने विचारों को किताबों में लिखा। इनका विवाह कम उम्र में ही केर दिया गया था। इन्होने विदेश में ही शिक्षा व् विदेश में ही वकालत का काम किया। वे रोज शाम को प्रार्थना किया करते थे। गांधीजी का शिक्षा के क्षेत्र में भी विशेष योगदान रहा है। क्योंकि शिक्षा के अभाव में एक स्वस्थ समाज का निर्माण असंभव है।
जन्म - 2 अक्टूबर1869
जन्म स्थान - पोरबंदर
पूर्ण नाम - मोहन दास करमचंद गाँधी
पिता का नाम - करमचंद गाँधी
गुरु का नाम - गोपाल कृष्ण गोखले महान
बच्चे -
1. हरिलाल मोहनदास गांधी
2. रामदास गांधी
3. देवदास गांधी
4. मणिलाल गांधी
महात्मन गाँधी जी के द्वारा लिखी 10 महत्वपूर्ण किताबों के नाम -
1. सत्य के प्रयोग : संक्षिप्त आत्मकथा
2. हिन्द स्वराज
3. द एसेंशियल गांधी
4. द वर्ड्स ऑफ गांधी
5. महात्मा गांधी
6. भगवद-गीता
7. मेरे सपनो का भारत
8. दक्षिण अफ्रीका में सत्याग्रह
9. गांधी हेल्थ गाइड
10. मंद ऑफ़ महात्मन गाँधी
भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के लिए संघर्ष -
1. चंपारण और खेड़ा
2. असहयोग आन्दोलन
3. स्वराज और नमक सत्याग्रह
4. दलित आंदोलन और निश्चय दिवस
5. द्वितीय विश्व युद्ध और भारत छोड़ो आन्दोलन
6. स्वतंत्रता और भारत का विभाजन
हत्या की गई - 30 जनवरी 1948
हत्या स्थान - नई दिल्ली में स्थित बिड़ला भवन में
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Mahatma Gandhi |
जन्म - 2 अक्टूबर1869
जन्म स्थान - पोरबंदर
पूर्ण नाम - मोहन दास करमचंद गाँधी
पिता का नाम - करमचंद गाँधी
गुरु का नाम - गोपाल कृष्ण गोखले महान
बच्चे -
1. हरिलाल मोहनदास गांधी
2. रामदास गांधी
3. देवदास गांधी
4. मणिलाल गांधी
महात्मन गाँधी जी के द्वारा लिखी 10 महत्वपूर्ण किताबों के नाम -
1. सत्य के प्रयोग : संक्षिप्त आत्मकथा
2. हिन्द स्वराज
3. द एसेंशियल गांधी
4. द वर्ड्स ऑफ गांधी
5. महात्मा गांधी
6. भगवद-गीता
7. मेरे सपनो का भारत
8. दक्षिण अफ्रीका में सत्याग्रह
9. गांधी हेल्थ गाइड
10. मंद ऑफ़ महात्मन गाँधी
भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के लिए संघर्ष -
1. चंपारण और खेड़ा
2. असहयोग आन्दोलन
3. स्वराज और नमक सत्याग्रह
4. दलित आंदोलन और निश्चय दिवस
5. द्वितीय विश्व युद्ध और भारत छोड़ो आन्दोलन
6. स्वतंत्रता और भारत का विभाजन
हत्या की गई - 30 जनवरी 1948
हत्या स्थान - नई दिल्ली में स्थित बिड़ला भवन में
गांधी के द्वारा प्रतिपादित सिद्धान्त -
1.सत्य
2. अहिंसा
3. शाकाहारी रवैया
4.ब्रह्मचर्य
5.सादगी
6. विश्वास
7. सन्दर्भ
गाँधी जी की आलोचना के मुख्य बिन्दु -
1. जुलु विद्रोह में अंग्रेजों का साथ देना
2. दोनो विश्वयुद्धों में अंग्रेजों का साथ देना
3. खिलाफत आन्दोलन जैसे साम्प्रदायिक आन्दोलन को राष्ट्रीय आन्दोलन बनाना
4. अंग्रेजों के विरुद्ध सशस्त्र क्रान्तिकारियों के हिंसात्मक कार्यों की निन्दा करना
5. गांधी-इरविन समझौता - जिससे भारतीय क्रन्तिकारी आन्दोलन को बहुत धक्का लगा
6. भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के अध्यक्ष पद पर सुभाष चन्द्र बोस के चुनाव पर नाखुश होना
7. चौरीचौरा काण्ड के बाद असहयोग आन्दोलन को सहसा रोक देना
8. भारत की स्वतंत्रता के बाद नेहरू को प्रधानमंत्री का दावेदार बनाना
9. स्वतंत्रता के बाद पाकिस्तान को 55 करोड़ रूपये देने की जिद पर अनशन करना
10. भीमराव आम्बेडकर, महात्मा गांधी को जाति प्रथा का समर्थक समझते थे।
गाँधी जी का मूलमंत्र - 'शोषण-विहीन समाज की स्थापना करना'।
गांधी जी द्वारा प्रतिपादित अनमोल वचन -
1. यदि सागर की कुछ बूँदें गन्दी हैं, तो पूरा सागर गंदा नहीं हो जाता।
2. खुद को खोजने का सबसे अच्छा तरीका है, खुद को दूसरों की सेवा में खो दो।
3. पहले वो आप पर ध्यान नहीं देंगे, फिर वो आप पर हँसेंगे, फिर वो आप से लड़ेंगे, और तब आप जीत जायेंगे।
4. व्यक्ति अपने विचारों से निर्मित प्राणी है, वह जो सोचता है वही बन जाता हैं।
5. जिस दिन से एक महिला रात में सड़कों पर स्वतंत्र रूप से चलने लगेगी, उस दिन से हम कह सकते हैं कि भारत ने स्वतंत्रता हासिल कर ली हैं।
6. खुद वो बदलाव बनिए जो आप दुनिया में देखना चाहते हैं।
7. एक विनम्र तरीके से, आप दुनिया को हिला सकते हैं।
8. मैं किसी को भी अपने गंदे पाँव के साथ मेरे मन से नहीं गुजरने दूंगा।
9. आँख के बदले में आँख पूरे विश्व को अँधा बना देगी।
10. शक्ति शारीरिक क्षमता से नहीं आती है। यह एक अदम्य इच्छा शक्ति से आती है।
11. कमजोर कभी माफ़ी नहीं मांगते। क्षमा करना तो ताकतवर व्यक्ति की विशेषता हैं।
12. आपकी मान्यताएं आपके विचार बन जाते हैं, आपके विचार आपके शब्द बन जाते हैं, आपके शब्द आपके कार्य बन जाते हैं, आपके कार्य आपकी आदत बन जाते हैं, आपकी आदतें आपके मूल्य बन जाते हैं, आपके मूल्य आपकी नीयति बन जाती हैं।
10. शक्ति शारीरिक क्षमता से नहीं आती है। यह एक अदम्य इच्छा शक्ति से आती है।
11. कमजोर कभी माफ़ी नहीं मांगते। क्षमा करना तो ताकतवर व्यक्ति की विशेषता हैं।
12. आपकी मान्यताएं आपके विचार बन जाते हैं, आपके विचार आपके शब्द बन जाते हैं, आपके शब्द आपके कार्य बन जाते हैं, आपके कार्य आपकी आदत बन जाते हैं, आपकी आदतें आपके मूल्य बन जाते हैं, आपके मूल्य आपकी नीयति बन जाती हैं।
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